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Jalandhar: जालंधर के स्पोर्ट्स गारमैंट्स कारोबारी को पुलिस अधिकारी बन बेटे को आतंकी गतिविधियों में पकड़े जाने का बोल उसे डिजिटल अरेस्ट करके नौसरबाज ने 6 लाख रुपए ट्रांसफर करवा लिए।
पैसे ट्रांसफर करने के बाद कारोबारी ने अपने बेटे को फोन किया तो पता लगा कि वह फैक्टरी में बैठ काम कर रहा है। आनन-फानन में बैंक को शिकायत दी गई लेकिन तब तक नौसरबाज 5 लाख रुपए निकलवा चुका था लेकिन बाकी का 1 लाख रुपए फ्रीज करवा दिया गया है।
जानकारी देते सिमरनजीत सिंह कौचड़ निवासी फ्रैंड्स कालोनी जी.टी.बी. नगर ने बताया कि वह लैदर कॉम्पलैक्स में कोछड़ स्पोर्ट्स के नाम की फैक्टरी चलाते हैं। उन्होंने कहा कि दादा को अटैक आने के कारण वह अस्पताल दाखिल थे। उनका पता लेने के लिए सिमरनजीत सिंह के पिता कमलजीत सिंह कोछड़ अस्पताल गए थे और उसी दौरान उन्हें एक कॉल आया। कॉल करने वाला व्यक्ति खुद को नकोदर थाना का एस.एच.ओ. बता रहा था जिसने कहा कि उनका बेटा आतंकी गतिविधियों में पकड़ा है।
इसी दौरान उसने बेटे से बात करने को कहा लेकिन जब बात की तो रोने की आवाजे आने लगीं और रो कर बात करने वाला व्यक्ति खुद को छुड़वाने की बात कर रहा था। कमलजीत सिंह पिता के कारण पहले से ही अपसैट थे और जब बेटे की ऐसी खबर पता लगी तो वह डर गए। फोन करने वाले व्यक्ति ने कमलजीत सिंह को बेटे को छोड़ने के बदले तुरंत 6 लाख रुपए ट्रांसफर करने को कहा।
उन्होंने कहा कि उन्हें ऑनलाइन करने नहीं आते तो आरोपी ने फोन न काट कर तुरंत बैंक जाकर आर.टी.जी.एस. करवाने को कहा। उसने बैंक अकाऊंट डिटेल्स भी भेज दी। फोन होल्ड पर ही था और कमलजीत सिंह ने अपने बैंक जाकर 6 लाख रुपए ट्रांसफर करवा दिए। फोन कटने के बाद कमलजीत सिंह ने अपने बेटे सिमरनजीत सिंह को फोन किया। तब पता लगा कि बेटा फैक्टरी में बैठा है और सही सलामत है। जब उस नंबर पर दोबारा फोन किया तो फोन बंद हो चुका था।
इस संबंधी बैंक जाकर शिकायत दी तो पता लगा कि जिस इंडियन बैंक में पैसे ट्रांसफर हुए वह वैस्ट बंगाल का है और उसमें से 5 लाख रुपए निकलवा भी लिए हैं। हालांकि बाकी के एक लाख रुपए फ्रीज कर दिए हैं। इस संबंधी पुलिस कमिश्नर को भी शिकायत दी गई है। गौरतलब है कि ऐसे कॉल पहले भी शहर के लोगों को आए जिसमें से कुछ तो बच जाते हैं लेकिन ज्यादातर लोग डर के मारे पैसे ट्रांसफर कर देते हैं।
Author: Harsh Sharma
Journalist